जब यशस्वी जयसवाल, ओपनिंग बैट्समैन – भारत क्रिकेट टीम ने 10 अक्टूबर 2025 को फ़ेज़ शाह कोटला, नई दिल्ली में 173* रन बनाए, तो पूरे क्रिकेट जगत में गूँज उठी। यह शतक उनके सातवां टेस्ट शतक था और इस उपलब्धि ने भारतीय क्रिकेट के दो बड़े सितारों, विराट कोहली और सौरव गांगुली के रिकॉर्ड को पीछे छोड़ दिया, जिन्होंने क्रमशः 25 और 26 टेस्ट में अपना सातवां शतक पूरा किया था।
इतिहासिक पृष्ठभूमि और रिकॉर्ड‑परिवर्तन
भारत‑वेस्ट इंडीज़ टेस्ट श्रृंखला का दूसरा मिलन 2025‑26 के विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में अहम मोड़ लेकर आया। पहली टेस्ट में, अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में भारत ने एक विशाल इनिंग जीत हासिल की थी, जिससे वेस्ट इंडीज़ को निराशा के साथ शेष मैच का सामना करना पड़ा। इस अवसर पर, वेस्ट इंडीज़ के पूर्व कप्तान डैरेन सामी (मुख्य कोच) ने अपनी टीम को ‘टर्मिनल डिसीज़’ से पीड़ित बताया था।
यशस्वी का 173* केवल रन नहीं, बल्कि एक सांख्यिकीय शर्त भी था। 16वें टेस्ट में वह सातवां शतक बना रहे थे, जबकि कोहली को यह माइलस्टोन 25 टेस्ट, गांगुली को 26 टेस्ट में मिला था। इस तरह यह शतक भारतीय बैटिंग क्रम में सबसे तेज़ सातवां शतक बन गया।
फ़ेज़ शाह कोटला पर पहला दिन: आँकड़े और साझेदारी
फ़ेज़ शाह कोटला, जो 1948 से टेस्ट का स्थायी मंच रहा, उसके काले मिट्टी वाले पिच पर तेज़ बॉल और धीमी घुमाव दोनों का मिश्रण था। यहाँ यशस्वी ने मिलैंड के बाद 193 रन का साझेदारी किया क्रमांक 2 के रूप में शुबमन गिल (67) के साथ। गिल को 67 रन बनाकर पहले विकेट पर गिरने से पहले ही टीम ने 318‑2 की स्थिरता हासिल की। दूसरा आउट साई सुधरशन (2) का था, जिससे भारत ने दिन के अंत में जल्दी‑जल्दी विजयी स्थिति ली।
विशेष रूप से उल्लेखनीय था नितीश कुमार रेड्डी (21) को टीम में रखना, जो अपने तेज़ गति वाले सीमर राउंडिंग के कारण पिच की सूखी जाँघों पर असर डालने वाले बॉल्स निकालते थे। ध्रुव जोरेल (23) और रविंद्र जगदेव (35) की उपस्थिति ने मध्य क्रम को गहराई दी।
वेस्ट इंडीज़ की स्थिति और अनुभवी सलाहकारों की भागीदारी
पहले टेस्ट के बाद टीम में आत्मविश्वास की कमी स्पष्ट थी। इस कारण, वेस्ट इंडीज़ ने तीन दिग्गजों – सिर विवियन रिचर्ड्स (69), सिर रिचि रिचर्डसन (61) और ब्रायन लारा (54) के साथ एक मेंटरिंग सत्र रखा। उन्होंने खिलाड़ियों को मानसिक दृढ़ता और तकनीकी बदलावों पर सलाह दी, परन्तु अभी भी टीम ‘दिशा‑हीन’ दिख रही है।
जेसन सीलेज़ (23) का तेज़ पेसिंग इस दिन कुछ हद तक प्रभावी रहा, परन्तु यशस्वी की दामदार शॉट्स ने उसे पीछे छोड़ दिया। एनालिस्ट्स का कहना है कि वेस्ट इंडीज़ को टॉप‑ऑर्डर में स्थिरता लाने के लिए अधिक अनुभवी बैट्समैन की जरूरत है, न कि केवल टैलेंट‑ड्रिवन तेज़ गेंदबाज़ी।
वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप पर असर और आगामी series
भारत के लिए यह जीत सिर्फ एक और टेस्ट नहीं, बल्कि WTC में पॉइंट्स की बौछार है। वर्तमान तालिका में भारत तीसरे स्थान पर है, और इस जीत से वे केवल तीन पॉइंट्स नहीं, बल्कि मानसिक बढ़त भी हासिल कर रहे हैं, जो दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ घर में होने वाले अगले series में अहम होगी। कोच रविंद्र जैन ने कहा, “हमारी बैटिंग लाइन‑अप में गहराई है, और यशस्वी का यह इनिंग हमें तेज़ी से पोज़ीशन मजबूत करने में मदद करेगा।”
वेस्ट इंडीज़ के लिए अब गंभीर आत्म‑निरीक्षण का समय है। उनके कई खिलाड़ी अब T20 लिग में अवसर नहीं पा रहे, जिससे उनका फॉर्म गिरता दिख रहा है। इस वजह से भारतीय निरंतरता इस श्रृंखला को ‘ऐतिहासिक अंतर’ का प्रमाण बनाता दिख रहा है।

विस्तृत विश्लेषण और भविष्य की संभावनाएँ
विशेषज्ञों ने कई बिंदुओं को उजागर किया:
- यशस्वी की तकनीक: ‘प्रॉक्सी‑टेस्ट’ के अनुसार, उनका बैक‑फुट फ़ुटवर्क और छोटा‑छोटा स्ट्रोक कई बॉलों को घुमा देता है, जिससे पिच की कसरत कम हो जाती है।
- शुबमन की कप्तानी: गिल ने मैच के दौरान दो बार डिफ़ेंडिंग पॉलिसी अपनाई, जिससे विरोधी टीम के बॉलर्स को रिद्म बदलना मुश्किल हुआ।
- पिच की विशेषता: कोटला की सूखी काली मिट्टी ने तेज़ रिवर्स स्पिन को बढ़ावा दिया, जिससे दोनो टीमों के स्पिनर (अजीज) को बोनस मिला।
- वेस्ट इंडीज़ का मनोवैज्ञानिक दबाव: डैरेन सामी के ‘टर्मिनल डिसीज़’ के बयान ने खिलाड़ियों पर अतिरिक्त तनाव डाला, जिसके कारण फील्डिंग में कमी दिखाई।
आगे क्या हो सकता है? अगले दो दिन में भारत को तेज़ी से मैच समाप्त करने की उम्मीद है, जबकि वेस्ट इंडीज़ को कम से कम दो विकेट लेकर विरोधी को थोड़ा तनाव में लाने की कोशिश करनी पड़ेगी। अगर भारत अपना पैर तब तक नहीं रख पाता, तो यह एक ‘स्लो‑पैस्ड ड्राव’ में बदल सकता है, जिससे WTC पॉइंट्स में अंतर कम हो सकता है।
निष्कर्ष: भारतीय क्रिकेट का नया युग?
यशस्वी जयसवाल का यह शतक न सिर्फ व्यक्तिगत उपलब्धि है, बल्कि भारतीय क्रिकेट के युवा पीढ़ी की ताक़त को भी दर्शाता है। उन्होंने साबित किया कि तेज़ उम्र में ही उच्चतम स्तर पर टिके रहना संभव है, जबकि कोहली‑गांगुली जैसे दिग्गजों का रिकॉर्ड ध्वस्त हो रहा है। इस बीच, वेस्ट इंडीज़ को पुनः संगठन और रणनीति बदलनी होगी, नहीं तो अंतर आगे भी बढ़ता रहेगा। इस तरह, फ़ेज़ शाह कोटला पर इस टेस्ट ने दोनों टीमों के भविष्य की कहानी लिखनी शुरू कर दी है।
Frequently Asked Questions
यशस्वी जयसवाल का यह शतक किन रिकॉर्ड को तोड़ता है?
यह उनका सातवां टेस्ट शतक है जिसे उन्होंने केवल 16वें टेस्ट में बनाकर विराट कोहली (25 टेस्ट) और सौरव गांगुली (26 टेस्ट) के रिकॉर्ड को पार किया। यह अब तक का सबसे तेज़ सातवां शतक माना जाता है।
क्या इस जीत से भारत के WTC रैंकिंग पर असर पड़ेगा?
हाँ, भारत को अतिरिक्त तीन पॉइंट्स मिलेंगे, जिससे वह तालिका में तीसरे स्थान पर पहले से ही स्थित है और दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ घरेलू श्रृंखला में एक मानसिक लाभ प्राप्त करेगा।
वेस्ट इंडीज़ ने इस मैच में कौन‑कौन से पुराने खिलाड़ी सलाह दी?
सीनियर दिग्गज सर विवियन रिचर्ड्स, सर रिची रिचर्डसन और ब्रायन लारा ने टीम को मेंटरिंग सत्र में सलाह दी, लेकिन अभी भी टीम को दिशा‑हीन माना जा रहा है।
फ़ेज़ शाह कोटला की पिच क्यों बैट्समैन के लिए अनुकूल मानी जाती है?
कोटला की काली, सूखी मिट्टी में तेज़ रिवर्स स्पिन और बouncy बॉल्स होते हैं, जिससे बैट्समैन को कट, ड्रॉप और लूप शॉट्स खेलने का मौका मिलता है। इस पिच ने यशस्वी को अपनी शॉट मेकिंग में मदद की।
आगामी भारत‑दक्षिण अफ्रीका श्रृंखला में क्या उम्मीदें हैं?
भारत को इस जीत के आत्मविश्वास के साथ घरेलू लाभ मिलेगा। विशेषज्ञ अनुमान लगाते हैं कि तेज़ पिच और घनी बैटिंग लाइन‑अप के कारण भारत को series जीतने की बढ़िया संभावना है, जबकि दक्षिण अफ्रीका को भी अपने स्पिन बैकबुक को बेहतर उपयोग करना पड़ेगा।
टिप्पणि (11)
Shweta Tiwari
यशस्वी की पारी को देख कर मन में कई प्रश्न जागते हैं-क्या यह नया युग है या केवल एक अस्थायी चमक? उनका तकनीकी रूप से परिपक्व स्वभाव और मानसिक दृढ़ता हमें याद दिलाती है कि खेल केवल ताकत नहीं, बल्कि गहन चिंतन भी है।
Rahul Sarker
यह ऐतिहासिक शतक हमारे राष्ट्रीय गर्व का प्रमाण है, विदेशी पिच पर भारतीय स्वैग का अद्भुत पराक्रम! यशस्वी ने न केवल रिकॉर्ड तोड़े, बल्कि हमारी अस्मिता को भी नया मुकाम दिया।
Sridhar Ilango
पहले तो मैं कहूँगा कि यह innings देख कर मेरे दिल की धड़कनें ट्रांसफॉर्म हो गईं। यशस्वी ने अपनी बैट से ऐसा जादू बुन दिया जैसे काली रात में सितारे चमकते हों। हर शॉट में थी एक अनकही कहानी, एक लहराती भावना। पिच की सूखी मिट्टी ने उन्हें अवसर दिया, लेकिन उन्होंने उसे मोती में बदल दिया। विरोधी गेंदबाजों को ऐसा लगा जैसे वे हवा में लिखे बिखरे शब्द पढ़ रहे हों। उनके 173* रन में छिपा था कई वर्षों का संघर्ष और मेहनत का प्रमाण। यह शतक सिर्फ एक आँकड़ा नहीं, बल्कि एक सामाजिक बदलाव की निशानी है। मैंने सुना है कि कई युवा अब क्रिकेट को जीवनशैली मानने लगे हैं, यही कारण है इस शतक की अहमियत। कोहली‑गांगुली की गाथा तो यशस्वी ने नई लकीर खींच दी। इस जीत ने वेस्ट इंडीज़ की आत्मविश्वास को झकझोर दिया, और उनकी रणनीति में एक छेद बन गया। मेरे हिसाब से यह तो एक महाकाव्य जैसा था, जहाँ हर ओवर एक अध्याय बन गया। यह नहीं भूलना चाहिए कि टीम ने भी सामंजस्य दिखाया, लेकिन यशस्वी ही इस कहानी के नायक थे। मैं तो इस बात से भी प्रभावित हूँ कि उन्होंने दृढ़ता से खेला, चाहे गेंदें कितनी भी तेज़ क्यों न थीं। इस पारी में दिखे थे उनके कदम, उनकी आँखे, और उनकी आत्मा। अंत में, यह शतक भारतीय क्रिकेट के भविष्य के लिए एक बीकन जैसा काम करेगा, जिससे नई पीढ़ी प्रेरित होगी। और हाँ, यह सब देखकर मुझे लगा जैसे मैं खुद मैदान में था।
priyanka Prakash
यशस्वी का यह शतक भारतीय बैटिंग की तेज़ी को साबित करता है। कोई संदेह नहीं कि वह अब आने वाले टेस्टों में निरंतर चमकेगा।
Hrishikesh Kesarkar
वास्तव में, इस शतक ने टेस्ट में सातवें शतक के औसत को 16 मैच तक घटा दिया है।
Manu Atelier
उल्लेखनीय है कि यशस्वी ने अपनी तकनीकी दक्षता को प्रभावी रूप से लागू किया। इस उपलब्धि से भारतीय टीम की गहरी बॅटिंग क्षमताओं का प्रमाण मिलता है। इसलिए भविष्य में इस तरह के प्रदर्शन को निरंतर प्रोत्साहित किया जाना चाहिए।
Anu Deep
क्या यह शतक भारतीय क्रिकेट में नई रणनीति की शुरुआत दिखाता है? यह देखना रोचक रहेगा
Preeti Panwar
यशस्वी की पारी देखकर दिल खुश हो गया 😊 वह वास्तव में हमारे लिए प्रेरणा है 🌟
MANOJ SINGH
मैच के बाद लग रहा था कि टीम ने पूरा प्लान फॉलो किया लेकिन कुछ वीक प्वाइंट्स अभी भी बचे हैं। यशस्वी ने तो फिर भी सहारा दिया।
Vaibhav Singh
यह शतक दर्शाता है कि युवा खिलाड़ी भी दबाव में चमक सकते हैं; हमें उनके समर्थन में कभी कमी नहीं करनी चाहिए।
Aaditya Srivastava
यशस्वी का शतक नया युग का संकेत है।