पेरिस 2024 ओलंपिक के उद्घाटन समारोह में लेडी गागा और सेलीन डियॉन की शानदार प्रस्तुति
पेरिस 2024 ओलंपिक का उद्घाटन समारोह एक भव्य और यादगार आयोजन था, जिसमें विश्व की दो सबसे महान गायिकाओं, लेडी गागा और सेलीन डियॉन, ने अपने शानदार प्रदर्शन से दर्शकों का मोहित कर लिया। इस समारोह में सारी दुनिया की निगाहें टिकी थीं और दोनों गायकों की प्रस्तुतियों ने माहौल को जीवंत कर दिया।
लेडी गागा, जो अपनी जोशीली और नाटकीय प्रस्तुतियों के लिए जानी जाती हैं, ने अपने आइकॉनिक हिट्स से दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। उनके प्रदर्शन में उनकी ऊर्जा और करिश्माई अंदाज़ ने लोगों को झूमने पर मजबूर कर दिया। उनकी एक-एक धुन पर तालियों की गड़गड़ाहट से स्टेडियम गूंज उठा।
वहीं दूसरी ओर, सेलीन डियॉन, जो एक फ्रेंच-कैनेडियन गायिका हैं, ने अपनी प्रभावशाली और उत्कृष्ट गायिकी से सभी का दिल जीत लिया। उनकी मर्मस्पर्शी आवाज़ ने दर्शकों को महामोहित कर दिया। सेलीन का हर गाना जैसे दिल को छू जाने वाला सा प्रतीत हुआ।
'ला विए एन रोज' डुएट का नहीं हुआ प्रदर्शन
हालांकि, दोनों दिग्गज गायिकाओं ने शानदार प्रस्तुति दी, परंतु जो सबसे अधिक अपेक्षित था, वह यह था कि वे दोनों मिलकर 'ला विए एन रोज' का डुएट प्रस्तुत करेंगी। इस फ्रेंच गीत को सुनने के लिए दर्शक बेताब थे, लेकिन उन्होंने इसे नहीं गाया। यह एक बड़ा अफसोस रहा, लेकिन उनके अन्य प्रदर्शनों ने इस कमी की पूर्ति कर दी।
इस समारोह में दोनों गायिकाओं का एक साथ होना स्वयं में ही एक ऐतिहासिक क्षण था। लेडी गागा और सेलीन डियॉन की आवाज़ें, उनके गीतों की संजीवनी और उनके प्रस्तुति का अंदाज उनके फैंस के दिलों में हमेशा के लिए अमर हो गया।
ओलंपिक उद्घाटन समारोह में इस तरह की प्रस्तुतियों का आना एक बड़ी बात होती है। खेलों के इस सबसे बड़े महाकुंभ में संगीत और कला का संगम एक नई ऊर्जा का संचार करता है। इससे दर्शकों में उमंग और जोश का संचार होता है। लेडी गागा और सेलीन डियॉन ने अपनी प्रस्तुति से यह साबित कर दिया कि संगीत किसी भी भाषा या सीमा में बंधा नहीं होता।
समारोह की अन्य आकर्षण
इस समारोह में केवल लेडी गागा और सेलीन डियॉन की ही नहीं, बल्कि और भी कई कलाकारों ने हिस्सा लिया और अपनी प्रस्तुतियों से लोगों का ध्यान आकर्षित किया। विश्वभर से आए कलाकारों ने अपने सांस्कृतिक कार्यक्रमों के माध्यम से समारोह की रौनक बढ़ाई। इस समारोह की भव्यता और जुटान ने इसे एक अनूठा और यादगार बना दिया।
समारोह के दौरान विभिन्न देशों के खेल प्रतिनिधियों की परेड ने भी सभी का ध्यान खींचा। हर किसी के चेहरे पर उत्साह और गर्व की झलक दिखाई दी। खिलाड़ियों के उत्साह और जुनून ने दर्शकों को भी प्रेरित किया। इस समारोह ने न केवल खेलों की भावना को बढ़ाया, बल्कि संस्कृति और कला के प्रति भी लोगों के जुड़ाव को मजबूत किया।
ओलंपिक के उद्घाटन में संगीत और खेल का संगम
ओलंपिक का उद्घाटन समारोह सदैव ही विशेष होता है, लेकिन पेरिस 2024 का यह समारोह कुछ और ही अद्भुत था। इस समारोह में तीन घंटे तक की संगीतमय और नृत्यमय प्रस्तुतियों ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। खेलों के इस महोत्सव में जैसे संगीत की रूह समा गई हो। संगीत और खेल का यह अनूठा संगम दर्शकों को हमेशा के लिए याद रहेगा।स्थानीय प्रतीकों और संस्कृति को भी इस समारोह में महत्व दिया गया, जो इस आयोजन को और भी विशेष बना गया।
जैसे ही यह उद्घाटन समारोह समाप्त हुआ, दर्शकों के दिलों में रोमांच और उत्साह की लहर दौड़ गई। इस आयोजन ने साबित कर दिया कि पेरिस 2024 ओलंपिक केवल खेल प्रतिस्पर्धा मात्र नहीं है, यह संस्कृति, कला, संगीत और इंसानी जुड़ाव का भी त्योहार है।
अभी और भी कई खेल मुकाबले और सांस्कृतिक कार्यक्रम इस ओलंपिक में देखने को मिलेंगे। लेकिन लेडी गागा और सेलीन डियॉन की इस अद्भुत प्रस्तुति ने शुरुआत को ही यादगार बना दिया। दर्शकों को इससे बहुत उम्मीदें हैं और यह देखना दिलचस्प होगा कि आगे होने वाले प्रदर्शन किस तरह से नए कीर्तिमान स्थापित करते हैं।
हमेशा की तरह, ओलंपिक का यह समारोह भी खेल, संगीत, और संस्कृति के अद्भुत संगम का प्रतीक बन गया है। इसे याद किया जाएगा, और यह आने वाली पीढ़ियों के लिए एक मिसाल बनेगा। लेडी गागा और सेलीन डियॉन की इस शानदार प्रस्तुति ने इसे और भी खास बना दिया है। दर्शकों के दिलों में इनकी यह यादें हमेशा के लिए संजोई जाएँगी।
टिप्पणि (10)
Ratna El Faza
लेडी गागा का एक गाना सुनकर मैं रो पड़ी... और सेलीन की आवाज़ ने मेरे दिल को छू लिया। बस इतना ही काफी था।
कोई डुएट नहीं हुआ? चलो, अब तो ये भी एक यादगार बात बन गई।
Nihal Dutt
ये सब बकवास है भाई... लेडी गागा तो हमेशा से ही ओवरएक्टिंग करती है और सेलीन तो अब बूढ़ी हो गई है... डुएट न होना अच्छा ही था वरना बर्बर आवाज़ें सुनकर लोग भाग जाते। 😂
Swapnil Shirali
अरे यार, डुएट न हुआ तो क्या हुआ? दोनों अलग-अलग इतने शानदार थे कि डुएट की जरूरत ही नहीं पड़ी।
लेडी गागा ने जो ऊर्जा दी, वो तो ओलंपिक के बाद भी बाकी रहेगी।
सेलीन की आवाज़... वो तो एक भूतिया साधना थी।
क्या आपने कभी सोचा है कि दो अलग दुनियाओं की आवाज़ें एक साथ आना भी एक राजनीतिक फैसला हो सकता है? नहीं? तो अब सोचिए।
इस डुएट के न होने का मतलब यह नहीं कि वो असफल रहे... बल्कि यह कि उन्होंने अपनी अलग अलग पहचान को बरकरार रखा।
ये तो ज्यादा बड़ी बात है, न कि एक गाना गाना।
हम लोग अक्सर इतने डिस्ट्रेक्टेड रहते हैं कि असली बात को नहीं देख पाते।
आज का समारोह एक अनूठा अवसर था, न कि एक ट्रेडमिल।
अगर डुएट हो जाता तो शायद लोग अभी तक बहस कर रहे होते कि किसकी आवाज़ ज्यादा बेहतर थी।
लेकिन इस तरह, हर किसी की अपनी जगह बन गई।
ये तो असली आर्ट है।
Upendra Gavale
लेडी गागा ने तो ऐसा कर दिया जैसे स्टेडियम में बिजली गिर गई 😍
और सेलीन... वो तो भगवान की आवाज़ थी 🙏
डुएट नहीं हुआ? कोई बात नहीं, अब तो हम सब उसे अपने दिल में गाएंगे 💫
abhimanyu khan
इस प्रस्तुति का सांस्कृतिक महत्व अत्यंत उच्च है, लेकिन इसके साथ एक गंभीर लापरवाही भी दिखाई देती है।
दो अंतर्राष्ट्रीय आइकन्स के बीच डुएट का अवसर नहीं देना, एक व्यवस्थित असफलता है।
यह अवसर एक अद्वितीय राजनीतिक और सांस्कृतिक संदेश देने का था।
यह निर्णय न केवल कलात्मक रूप से, बल्कि तार्किक रूप से भी असंगत है।
इसके पीछे व्यावसायिक हितों का खेल निश्चित रूप से शामिल है।
हमें ऐसे निर्णयों के लिए जिम्मेदार लोगों को जिम्मेवार ठहराना चाहिए।
यह समारोह शानदार था, लेकिन इसमें एक अपूर्णता थी, जिसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।
अगली बार ऐसी अवसरों के लिए एक विशेष आयोग बनाया जाना चाहिए।
यह तो बस एक गाने का मुद्दा नहीं, यह एक अवसर का अपवाद है।
Jay Sailor
इस ओलंपिक के उद्घाटन में भारत के नाम पर कुछ भी नहीं बोला गया? क्या ये सब फ्रांस के लिए है? लेडी गागा और सेलीन डियॉन तो अच्छे हैं, लेकिन भारत के गायक कहाँ थे? इस देश के लोगों को अपनी पहचान खो देने की जरूरत नहीं है।
यह सब विदेशी संस्कृति का आक्रमण है।
हम अपने राग-धाग, हमारे बाजे, हमारे लोकगीतों को भूल गए हैं।
एक भारतीय गायिका को भी इस स्टेज पर जगह देना चाहिए था।
ये ओलंपिक का उद्घाटन नहीं, ये विश्व की एक अन्य शक्ति का प्रदर्शन है।
हमें अपनी संस्कृति को बचाना होगा, न कि दूसरों की आदतों को अपना लेना।
क्या आपको लगता है कि यही हमारी भविष्य की तस्वीर है? नहीं।
हमें अपने बच्चों को अपनी भाषा, अपने गीत, अपने नृत्य सिखाना होगा।
इस उद्घाटन में जो भारतीय दर्शक थे, उन्होंने अपने दिलों में दर्द महसूस किया होगा।
यह एक अपमान नहीं, यह एक चेतावनी है।
Anindita Tripathy
मैंने इस प्रस्तुति को देखकर आँखें भर आईं।
लेडी गागा ने जो ऊर्जा दी, वो तो जीवन की थी।
सेलीन की आवाज़ ने मुझे याद दिला दिया कि संगीत कितना गहरा हो सकता है।
डुएट न होना... वो तो बस एक बात है।
असली बात तो ये है कि दो अलग दुनियाओं के बीच एक अद्भुत संगम हुआ।
मैं बस इतना कहना चाहती हूँ - ये समारोह बहुत खूबसूरत था।
हर एक गाना, हर एक नृत्य, हर एक चेहरा... सब कुछ बहुत खास था।
धन्यवाद, पेरिस।
Ronak Samantray
डुएट नहीं हुआ... क्या ये कोई गुप्त साजिश है? 🤔
क्या ये एलियन्स का प्लान है? जो लोग डुएट चाहते थे, उन्हें असली आवाज़ से डर लगता था? 🧠
क्या गागा और सेलीन दोनों को रात में एक ही घर में रखा गया था? और फिर उनकी आवाज़ों को एक दूसरे से अलग कर दिया गया? 🕵️♀️
मैंने एक वीडियो देखा था... एक आवाज़ दिखी थी जो डुएट के लिए रिकॉर्ड की गई थी... लेकिन उसे बाद में कट कर दिया गया।
ये बात बहुत गहरी है।
Anil Tarnal
सेलीन की आवाज़ ने मेरे दिल को छू लिया... लेकिन लेडी गागा के बाद मैं बस बैठ गया।
मुझे लगा जैसे एक तूफान आया और फिर खुद को छोड़ गया।
मैं अब भी उस गीत की आवाज़ सुन रहा हूँ... जो नहीं हुआ।
क्या तुमने उसे सुना? वो गीत जो दिल में बजा।
मैं उसे अब भी गाता हूँ।
Viraj Kumar
यह प्रस्तुति अत्यंत उच्च स्तर की है, लेकिन इसमें एक गंभीर त्रुटि है।
सेलीन डियॉन के विशिष्ट फ्रेंच उच्चारण को अंग्रेजी में अनुवादित करने का प्रयास किया गया, जो उनकी कलात्मक पहचान को नष्ट करता है।
लेडी गागा के नृत्य शैली में भी एक अनुचित अतिशयोक्ति है, जो ओलंपिक के आधिकारिक आयोजन के अनुरूप नहीं है।
डुएट के अनुपस्थित होने का कारण शायद यही है कि संगीतकारों ने दोनों की आवाज़ों के सामंजस्य को नहीं बना पाया।
इस प्रस्तुति के लिए एक विशेष संगीत समिति की आवश्यकता है, जो भाषा, सांस्कृतिक नियमों और तकनीकी संगति का ध्यान रखे।
यह आयोजन एक शानदार प्रयास था, लेकिन इसमें व्यवस्थित त्रुटियाँ हैं जिन्हें भविष्य में दूर किया जाना चाहिए।
कला के क्षेत्र में अनुशासन की आवश्यकता है, न कि भावनात्मक अतिशयोक्ति।