नवादा वार्ड 14 में झुके बिजली के पोल और खराब जल निकासी की समस्या

नवादा वार्ड 14 में झुके बिजली के पोल और खराब जल निकासी की समस्या

नवादा की वार्ड 14 में राहगीरों और घरों को दोहरी समस्या का सामना करना पड़ रहा है – झुके हुए बिजली के पोल और असंतुलित जल निकासी व्यवस्था। पिछले दो हफ्तों में लगातार बारिश ने जल स्तर को ऊँचा कर दिया, जिससे कई निचले-स्तर के घरों में पानी जमा हो रहा है। उसी दौरान, कुछ मूलभूत रखरखाव के अभाव में किनारे-किनारे लटकते पोल गिरने की आशंका भी पैदा कर रहे हैं।

बिजली के पोल की स्थिति और संभावित खतरा

स्थानीय बिजली विभाग के आधिकारिक आंकड़े के अनुसार, वार्ड 14 में लगभग पंद्रह पोल खराब स्थिति में हैं। इनमें से सात पोल स्पष्ट रूप से झुके हुए हैं, जिससे लोगों के लिए तंग गलियों में चलना जोखिम भरा हो गया है। विशेषज्ञों ने कहा कि तेज़ हवा या भारी बारिश के दौरान ये पोल टूट सकते हैं, जिससे घरों में बिजली कटौती या आग जैसी गंभीर दुर्घटनाएं हो सकती हैं।

वार्ड की बैठक में मौजूद कुछ निवासी ने बताया कि पिछले साल के ही इस मौसम में उनके घर के दिवालिया की छत पर पोल टकरा गया था, जिससे एक छोटी सी आग लग गई थी। इस कारण से वे अभी भी डरते हैं कि बड़ी बारिश में फिर से ऐसी घटना घटित हो सकती है।

जल निकासी की खराबी और दैनिक जीवन पर असर

जल निकासी की खराबी और दैनिक जीवन पर असर

वार्ड 14 के अधिकांश हिस्से पुराने नाली नेटवर्क के ऊपर बने हैं, जो अब शहर के विस्तृत विस्तार और बढ़ती जनसंख्या के साथ तालमेल नहीं रख पाते। सड़कों के दोनों किनारे की नालियों में गंदगी, कचरा और पेड़ के पत्ते जमा हो गए हैं, जिससे पानी का बहाव बाधित हो रहा है। परिणामस्वरूप, बारिश के बाद कुछ घरों के दरवाजे और फुटपाथ जलमग्न हो जाते हैं, जिससे रोजमर्रा के कामकाज में बाधा आती है।

स्थानीय स्वच्छता विभाग के मुखिया ने बताया कि इस साल बजट कटौती के कारण नई नली बिछाने का काम रुक गया था। उन्होंने कहा कि वे जल निकासी सुधार के लिए निजी कंपनियों के साथ सहयोग करने की योजना बना रहे हैं, पर अभी तक ठोस समय-सारिणी नहीं बनी है।

निवासियों ने इस समस्या को लेकर कई बार पंचायती सभाओं में आवाज उठाई है, लेकिन अभी तक समाधान नहीं मिला। कई घरों में जल भराव के कारण फर्नीचर खराब हो गया, और कुछ लोगों को अपने घरों से बाहर निकलना भी मुश्किल हो रहा है।

बिजली विभाग और जल निकासी विभाग दोनों से जुड़े अधिकारियों से इस समस्या को हल करने की अपील की जा रही है। निवासियों की आशा है कि जल्द ही सरकारी एजेंसियां मिलकर इस क्षेत्र को सुरक्षित और रहने योग्य बना पाएंगी।

टिप्पणि (12)

  1. Subashnaveen Balakrishnan
    Subashnaveen Balakrishnan
    27 सित॰, 2025 AT 04:06 पूर्वाह्न

    इस वार्ड में पोल और नालियों की स्थिति तो बस एक टाइम बॉम्ब है। बारिश होते ही लोग डर के मारे घर से बाहर नहीं निकल पाते। बिजली विभाग तो बस इतना कहता है कि अगले महीने ठीक करेंगे। लेकिन अगला महीना आया तो फिर वही बहाना। ये चल रही लापरवाही असल में जानलेवा है।
    कोई निवासी भी अब इस बारे में शिकायत नहीं करता। बस बेबसी से देखते रह जाते हैं।

  2. Rajesh Dadaluch
    Rajesh Dadaluch
    27 सित॰, 2025 AT 13:23 अपराह्न

    पोल झुके हैं। नाली बंद है। समाधान नहीं।

  3. Pratyush Kumar
    Pratyush Kumar
    28 सित॰, 2025 AT 22:47 अपराह्न

    मैंने इस वार्ड में कई बार गाड़ी चलाई है। वो झुके हुए पोल तो बस आंखों के सामने हैं। लेकिन सच बताऊं तो जल निकासी की समस्या ज्यादा खतरनाक है। एक बार मैंने देखा था कि एक बूढ़ी महिला घर के बाहर बहते पानी में फिसल गई। उसके बाद से मैं हर बार धीरे से चलता हूं।
    सरकारी अधिकारी तो बस बैठकों में बैठे रहते हैं। वो जानते हैं कि क्या हो रहा है। लेकिन कोई कदम नहीं उठाता।
    हमें अपने आप इसका समाधान निकालना होगा। अगर कोई निवासी ग्रुप बन जाए तो शायद ये बदल सकता है।

  4. nishath fathima
    nishath fathima
    30 सित॰, 2025 AT 03:44 पूर्वाह्न

    यह सब बेहद अनुचित है। जिन लोगों ने अपने कर दिए हैं, उनकी सुरक्षा का ध्यान रखना सरकार का अनिवार्य कर्तव्य है। इस तरह की लापरवाही नागरिकों के प्रति अनादर का प्रतीक है। यह स्थिति अस्वीकार्य है और इसके लिए जिम्मेदार अधिकारी तुरंत बदले जाने चाहिए।

  5. DHEER KOTHARI
    DHEER KOTHARI
    30 सित॰, 2025 AT 11:38 पूर्वाह्न

    बहुत बुरी स्थिति है। बस इतना कहना है कि जल्दी कुछ करो। ये पोल गिरेंगे तो कोई जान जा सकती है। और पानी के कारण बच्चे बीमार हो रहे हैं।
    मैं निवासियों को एक ग्रुप बनाने की सलाह देता हूं। एक साथ बोलने से कुछ तो होगा।

  6. vineet kumar
    vineet kumar
    2 अक्तू॰, 2025 AT 11:29 पूर्वाह्न

    ये समस्या सिर्फ नवादा की नहीं। ये भारत के हर छोटे शहर की समस्या है। हमने विकास को बिजली और सड़कों तक सीमित कर दिया है। बुनियादी ढांचा जैसे नाली, पोल, पानी की आपूर्ति ये सब तो नजरअंदाज हैं।
    एक शहर की स्वस्थता का मापदंड उसकी नालियों की स्थिति होनी चाहिए। न कि उसके नए मॉल की।
    हम बहुत जल्दी बढ़ रहे हैं। लेकिन अपने आधार को नहीं मजबूत कर रहे। ये एक गहरा सामाजिक विकृति है।

  7. Deeksha Shetty
    Deeksha Shetty
    3 अक्तू॰, 2025 AT 23:31 अपराह्न

    ये सब बकवास है। बिजली विभाग ने तो पोल बदलने का वादा तीन साल पहले किया था। जल निकासी के लिए बजट कटौती? ये सब झूठ है। वो पैसे अपने जेब में डाल रहे हैं।
    मैंने एक फोटो खींची है जहां एक पोल बिल्कुल जमीन के समानांतर है। अगर कोई चाहे तो वो भेज सकता है।
    कोई शिकायत करता है तो वो बस डरा देते हैं। ये तो जनता के खिलाफ युद्ध है।

  8. Ratna El Faza
    Ratna El Faza
    4 अक्तू॰, 2025 AT 08:56 पूर्वाह्न

    मेरे पड़ोस में भी यही हो रहा है। बारिश में बच्चे घर से नहीं निकल पाते। एक बार तो मेरा बेटा फुटपाथ पर फिसला और घुटने पर चोट आ गई।
    हमने नगर पालिका को एक चिट्ठी भेजी थी। जवाब आया कि वे इसकी जांच करेंगे। अब तक कोई आया नहीं।
    हम लोग अपने घर के आसपास कचरा उठा रहे हैं। थोड़ा तो खुद करना पड़ रहा है।

  9. Nihal Dutt
    Nihal Dutt
    5 अक्तू॰, 2025 AT 15:59 अपराह्न

    क्या तुमने कभी सोचा है कि ये सब आपके लिए है? ये पोल तो आपके घर के लिए हैं! आपकी नालियां आपके लिए हैं! आप नहीं तो कौन? आप बैठे रहोगे तो क्या होगा? आपकी बेटी बीमार होगी। आपका बेटा बाथरूम में फिसलेगा। आपका घर डूब जाएगा। आपको क्या फर्क पड़ता है? आप तो बस ट्विटर पर लिखते हैं।

  10. Swapnil Shirali
    Swapnil Shirali
    6 अक्तू॰, 2025 AT 04:23 पूर्वाह्न

    अच्छा, तो अब बिजली विभाग के पास बजट नहीं है, लेकिन नए बाजार के लिए एक बड़ा बाहरी चिह्न बनाने के लिए 50 करोड़ खर्च कर रहे हैं? जल निकासी के लिए बजट कटौती? ये बातें तो बच्चों को समझाने के लिए बनाई गई हैं।
    हम यहां नहीं रह रहे हैं। हम एक जिंदा तालाब के ऊपर रह रहे हैं।
    अगर कोई अधिकारी यहां आए तो उसे बस एक बार बारिश के बाद यहां आकर देखना चाहिए। फिर वो खुद बताएगा कि क्या हो रहा है।

  11. Upendra Gavale
    Upendra Gavale
    6 अक्तू॰, 2025 AT 13:30 अपराह्न

    ये तो बस भारत का नियम है। पहले बारिश होती है, फिर लोग डूबते हैं, फिर टीवी पर न्यूज़ आता है, फिर मंत्री जाते हैं, फिर फोटो खींचे जाते हैं, फिर कुछ नहीं होता।
    पोल झुके हैं? ठीक है। नाली बंद है? ठीक है।
    लेकिन अगर कोई वार्ड चेयरमैन के घर के सामने ये हो रहा होता तो क्या ये अभी तक ऐसा होता? 😅
    हम लोग बस इंतजार कर रहे हैं कि कोई बड़ा दुर्घटना हो जाए। तभी कोई काम करेगा।

  12. Keshav Kothari
    Keshav Kothari
    7 अक्तू॰, 2025 AT 23:46 अपराह्न

    ये सब बस एक नियमित घटना है। जब बारिश होती है, तो ये सब खराब हो जाता है। जब बारिश बंद हो जाती है, तो ये सब भूल जाते हैं। ये चक्र अनंत है। कोई नहीं बदलेगा।

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