इज़राइल और हिज़्बुल्लाह के बीच संघर्ष
28 सितंबर, 2024 की रात को इज़राइली सेना ने बैरुत पर एक बड़ा हवाई हमला किया, जिसके परिणामस्वरूप हिज़्बुल्लाह के पूर्व प्रमुख हसन नसरल्लाह की मौत हो गई। यह हमला इज़राइल और हिज़्बुल्लाह के बीच वर्षों से चले आ रहे तनाव और संघर्ष का नवीनतम अध्याय है। हिज़्बुल्लाह, जो वर्षों से इज़राइल के खिलाफ क्षेत्रीय संघर्षों में एक प्रमुख खिलाड़ी रहा है, उस पर यह हमला उनके नेतृत्त्व को एक बड़ा झटका माना जा रहा है।
इज़राइली सेना ने पुष्टि की कि नसरल्लाह की हत्या उनके सैन्य अभियान का हिस्सा थी, जिसका उद्देश्य हिज़्बुल्लाह के नेतृत्त्व और संचालन क्षमताओं को कमजोर करना था। इज़राइल का यह कदम यह दर्शाता है कि उसकी सेना हाई-प्रोफाइल लक्ष्यों को निशाना बनाने और लंबे समय से चली आ रही सैन्य क्षमताओं को दर्शाने में सक्षम है।
हसन नसरल्लाह की प्रमुखता
हसन नसरल्लाह का जन्म 1960 में हुआ था और 1992 में हिज़्बुल्लाह के प्रमुख बने। उनके नेतृत्त्व में, हिज़्बुल्लाह ने लेबनान के भीतर अपना प्रभाव व्यापक किया और इज़राइल के साथ कई सैन्य सम्मुखताओं में हिस्सेदारी की। नसरल्लाह की मौत हिज़्बुल्लाह के लिए एक बड़ा झटका है, क्योंकि वह संगठन की रणनीतिक और राजनीतिक दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते थे।
नसरल्लाह को एक कट्टरपंथी नेतृत्त्व के रूप में देखा जाता था, जिन्होंने हिज़्बुल्लाह को एक मजबूत और संगठित बल बनाया। उनकी हत्या से हिज़्बुल्लाह की गतिविधियों में अव्यवस्था फैल सकती है और संगठन के भीतर शक्ति संघर्ष की संभावनाएं बढ़ सकती हैं।
इज़राइल की रणनीतिक शक्ति
इज़राइली सेना का यह हमला दर्शाता है कि उनकी खुफिया सेवाएं और सैन्य सामर्थ्य उच्च कुशलता की हैं। इज़राइल की यह कार्रवाई यह स्पष्ट करती है कि वह अपने सैन्य विरोधियों के खिलाफ आक्रामक कदम उठाने के लिए तत्पर है।
इस हमले के बाद, क्षेत्र में और अधिक अस्थिरता का खतरा बढ़ गया है। हिज़्बुल्लाह की ओर से शायद किसी प्रकार की प्रतिक्रिया की संभावना है, जिससे इज़राइल और लेबनान के बीच संबंध और ज्यादा बिगड़ सकते हैं।
क्षेत्रीय प्रभाव
हसन नसरल्लाह की मौत के साथ, हिज़्बुल्लाह को अपने नेतृत्त्व में नए प्रमुख को स्थापित करने की आवश्यकता होगी। उनकी अनुपस्थिति से संगठन के भीतर अस्थिरता बढ़ सकती है और इससे क्षेत्र में अन्य संकट और संघर्ष उत्पन्न हो सकते हैं।
हिज़्बुल्लाह को ईरान का समर्थन प्राप्त है, और नसरल्लाह की हत्या के बाद, यह देखना दिलचस्प होगा कि ईरान कैसे प्रतिक्रिया करता है। ईरान का प्रतिक्रिया और हिज़्बुल्लाह की ओर से संभावित प्रतिशोध का क्षेत्रीय स्थिरता पर गंभीर असर पड़ सकता है।
भविष्य की संभावनाएं
इज़राइल के इस हमले से पूरे मध्य पूर्व में तनाव बढ़ने का खतरा है। नसरल्लाह की हत्या क्षेत्रीय राजनीति और सुरक्षा पर गहरा प्रभाव डाल सकती है। यह संभावित है कि आने वाले दिनों में इज़राइल और हिज़्बुल्लाह के बीच संघर्ष की और घटनाएं सामने आ सकती हैं। यह महत्वपूर्ण होगा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय इस स्थिति को संभालने में गंभीरता दिखाए और किसी भी संभावित बड़े संघर्ष को रोकने के लिए कदम उठाए।
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